रशिया के सुरक्षाविषयक हितसंबंधों के साथ समझौता संभव नहीं

- राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन की चेतावनी

मॉस्को – पूर्वी युक्रेन के दो स्वायत्त भागों को स्वतंत्र देश का दर्जा देने के बाद, रशिया के सुरक्षाविषयक हितसंबंधों के साथ कभी भी समझौता नहीं किया जाएगा, ऐसी कड़ी चेतावनी राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन ने दी। बुधवार को रशिया में मनाए गए ‘डिफेन्डर ऑफ द फादरलॅण्ड डे’ की पृष्ठभूमि पर पुतिन ने यह चेतावनी दी। राष्ट्राध्यक्ष की चेतावनी से पहले, डोनेस्क और लुहान्स्क इन नये देशों की सुरक्षा तथा सार्वभौमिकता की गारंटी रशिया ने ली है, ऐसा विदेश मंत्री सर्जेई लॅव्हरोव्ह ने घोषित किया है।

सुरक्षाविषयक हितसंबंधांशी

सोमवार रात को रशियन राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन ने यूक्रेन का हिस्सा होने वाले डोनेस्क और लुहान्स्क इन प्रांतों को स्वतंत्र देश के रूप में मान्यता घोषित की थी। इसपर युक्रेन समेत पश्चिमी देशों से तीव्र प्रतिक्रिया आई है। अमरीका और सहयोगी देशों ने, यह घोषणा और उसके बाद रशिया ने भेजी हुई सेना यानी युक्रेन पर आक्रमण ही होने का होहल्ला शुरू किया है। पश्चिमी देशों के इन आरोपों को प्रत्युत्तर देते हुए पुतिन ने, रशिया की सुरक्षा के साथ किसी भी प्रकार का समझौता नहीं किया जाएगा ऐसा कहा है।

पहले विश्वयुद्ध में रशियन सेना ने दिए योगदान की स्मृति के रूप में रशिया में ‘डिफेन्डर ऑफ द फादरलॅण्ड डे’ मनाया जाता है। इस समय पुतिन ने देशवासियों को संबोधित करके किये बयान में रशियन रक्षा बलों की क्षमता पर पूरा विश्वास ज़ाहिर किया। ‘रशिया के रक्षा बल यह देश की सुरक्षा की दृढ़तापूर्वक गारंटी देते हैं। इस कारण देश की रक्षा क्षमता बरकरार रखना यह हमारे लिए सर्वोच्च प्राथमिकता की बात है। जटिल समस्याओं के लिए खुले वातावरण में चर्चा करने के लिए रशिया तैयार है। लेकिन रशियन जनता की सुरक्षा और देश के हितसंबंध इन मुद्दों पर हम किसी भी प्रकार का समझौता नहीं करेंगे’, ऐसा पुतिन ने डटकर कहा।

पुतिन की इस चेतावनी से पहले विदेश मंत्री लॅव्हरोव्ह ने, रशिया ने मान्यता दिए दो नए देशों के संदर्भ में भूमिका स्पष्ट की। ‘रशिया ने इन नए देशों के साथ मित्रता, सहयोग और सहायता के संदर्भ में समझौते किए हैं। इन समझौतों के जरिए रशिया ने उनकी सुरक्षा की ज़िम्मेदारी का स्वीकार किया है। सभी लोग इसका भली-भांति एहसास रखें’, ऐसा विदेश मंत्री लॅव्हरोव्ह ने कहा है। रशिया ने डोनेस्क और लुहान्स्क में शांति सेना तैनात की होकर, जरूरत पड़ने पर रक्षा अड्डों का निर्माण करने के भी संकेत दिए हैं। रशिया की इन गतिविधियों की पृष्ठभूमि पर युक्रेन सरकार ने देश में इमरजेंसी की घोषणा की होकर, ‘रिझर्व्ह फोर्स’ सक्रिय करने की तैयारी शुरू की है।

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