यूक्रेन के ‘काउंटर ऑफेन्सिव’ का नतीज़ा स्पष्ट हुआ है

- रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमीर पुतिन

मास्को – यूक्रेन के ‘काउंटर ऑफेन्सिव’ का नतीज़ा स्पष्ट हुआ है, यह घोषित करके रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेन समेत पश्चिमी देशों का मज़ाक उड़ाया है। पश्चिमी देशों ने यूक्रेन को भारी मात्रा में हथियार और सैन्य सामान प्रदान किया। निजी सैनिकों के साथ सैन्य सलाहकार भी यूक्रेन के लिए काम कर रहे हैं। फिर भी रशियन सेना के सामने यूक्रेन खड़ा नहीं रह सका है और यूक्रेन को अपने हजारों सैनिकों को खोना पड़ा हैं। अब कुछ लोगों के स्वार्थ के लिए अपनी बलि क्यों चढ़ानी है, इसपर यूक्रेन की जनता विचार करें, ऐसा आवाहन राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने किया है।

‘काउंटर ऑफेन्सिव’ का नतीज़ा

रशिया ने यूक्रेन के क्षेत्र पर कब्ज़ा करने के बाद यूक्रेन के राष्ट्राध्यक्ष झेलेन्स्की ने यह ऐलान किया था कि, हमारा देश जल्द ही ‘काउंटर ऑफेन्सिव’ यानी जवाबी हमले करेगा। अमरीकाने इसपर यूक्रेन के जवाबी हमलों को बड़ी सफलता हासिल होगी, ऐसा कहकर इस देश का उत्साह बढ़ाया था। यूरोपिय देशों को भी यूक्रेन के जवाबी हमलों पर बड़ा भरोसा था। इसके अनुसार यूक्रेनी सेना ने रशियन सेना पर जवाबी हमले शुरू भी किए। लेकिन, इन जवाबी हमलों में यूक्रेन को भारी नुकसान पहुंचता दिख रहा है। रशिया के तोप, ड्रोन और मिसाइल हमलों के साथ ही राह में लगाए बारूद के कारण भी यूक्रेनी सेना का बड़ा नुकसान हुआ है।

यूक्रेनी सेना ने काउंटर ऑफेन्सिव के कारण हजारों सैनिक, सैन्य सामान और वाहन खोए हैं। इसमें यूक्रेन को मिली असफलता के कारण अमरीका भी परेशान होती दिख रही है। अमरीका के शीर्ष अखबारों ने इससे संबंधित खबरें जारी की हैं। इस मुद्दे को लेकर यूरोपिय देश भी यूक्रेन पर नाराज़ होने के संकेत प्राप्त हो रहे हैं। ऐसी स्थिति में रशियन राष्ट्राध्यक्ष ने यूक्रेन के ‘काउंटर ऑफेन्सिव’ पर तीखा बयान करके यूक्रेन के साथ पश्चिमी देशों को भी लक्ष्य किया। पश्चिमियों ने इस सैन्य अभियान के लिए यूक्रेन को भारी मात्रा में हथियार और रक्षा सामान की आपूर्ति की थी, इस मुद्दे पर राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने ध्यान आकर्षित किया।

‘काउंटर ऑफेन्सिव’ का नतीज़ा

साथ ही ठेके के सैनिक और सैन्य सलाहकार यूक्रेन की सेना को सहायता प्रदान कर रहे थे। फिर भी रशियन सेना के सामने वह खड़ी नही रह सकी, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने कहा हैं। इस अभियान में यूक्रेन ने अपने हजारों सैनिकों को खोया हैं। यह यूक्रेनी जनता के लिए दुर्भाग्य की बात है। कुछ लोगों के संकुचित स्वार्थ के लिए अपनी बलि क्यों चढ़ानी है, यह सवाल यूक्रेनी जनता ने खूद से करना होगा, ऐसा कहकर राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने यूक्रेनी जनता को झेलेन्स्की के प्रभाव में ना रहने की सलाह दी है।

इसी बीच, यूक्रेन के जवाबी हमलों की बड़ी सफलता हासिल ना होने की बात स्वीकार करने के बावजूद कुछ सामरिक विश्लेषक यूक्रेन युद्ध में रशिया का भी भारी नुकसान होने की ओर ध्यान आकर्षित कर रहे हैं। इससे रशिया को नुकसान पहुंचे बिना नहीं रहेगा। रशियन अर्थव्यवस्था 1पर अमरीका ने लगाए प्रतिबंधों का असर भी कुछ समय बाद सामने आएगा, ऐसा इन विश्लेषकों का कहना है।

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