वार्सा – ‘इस्रायल और पैलस्टाईन में शांति चर्चा हो, यह अरब देशों की प्राथमिक मांग थी। लेकिन, अब पैलस्टाईन के मुद्दे से भी अधिक ईरान का खतरा यह अरब देशों के लिए सबसे अधिक अहम होने का एसहास हो रहा है’, यह घोषणा इस्रायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेत्यान्याहू इन्होंने की है। वार्सा में हुई बैठक में शामिल हुए चार अरब देशों ने इस्रायल की ईरान संबंधी भूमिका का समर्थन किया है, ऐसा भी नेत्यान्याहू ने कहा है।
अमरिका ने पोलंड में ‘पीस ऍण्ड सिक्युरिटी इन द मिडल ईस्ट’ इस बैठक का आयोजन किया था। अंतरराष्ट्रीय माध्यमों को इस बैठक से दूर रखा गया था। इस वजह से इस बैठक की ज्यादा जानकारी स्पष्ट नही हो सकी है। गुरूवार देर से इस्रायल के प्रधानमंत्री ने पत्रकारों से बात करते समय इस बैठक से जुडी अहम घोषणा की।
‘पिछले कई वर्षों से मैं ईराण को लेकर जो भूमिका रख रहा हूं, वही भूमिका अरब देश स्वीकार रहे है। इस बैठक में शामिल हुए पांच में से चार अरब विदेश मंत्रीयों ने ईरान से बने खतरे को लेकर इस्रायल ने अपनाई भूमिका को सहमती दर्शाई है’, ऐसा नेत्यान्याहू इन्होंने बताया।
इस्रायल के प्रधानमंत्री अरब देशों का नाम लेने से बचते रहे। लेकिन, यह अरब देश जॉर्डन, इजिप्ट के जैसे इस्रायल के साथ संबंधों में सुधार करने के लिए उत्सुक होने का दावा नेत्यान्याहू इन्होंने किया। साथ ही ईरान के खतरे से आत्मरक्षा करने का इस्रायल को अधिकार है, यह बात भी इन अरब देशों ने ६० देशों की प्रतिनिधियों के मौजूदगी में स्वीकारी है, ऐसा नेत्यान्याहू इन्होंने कहा है।
इस दौरान पिछले कुछ महीनों से अरब देश इस्रायल और खाडी देशों को धमका रहे ईरान पर आलोचना करके इस्रायल की भूमिका का समर्थन कर रहे थे। साथ ही इस्रायल के साथ सहयोग स्थापित करने के संकेत भी दिए थे। लेकिन, इस्रायल के साथ सहयोग स्थापित करने की स्पष्ट भूमिका अपनाने से यह देश दूर रहे थे। ऐसी स्थिति में इस बैठ में शामिल अरब देशों ने इस्रायल के भूमिका का समर्थन करना ईरान विरोधी बडे गठबंधन का ऐलान होने का कारण हो सकता है।
ईरान की जहरीली आर्थिक सहायता से इस्रायल-पैलस्टाईन चर्चा रूकी – बहरीन के विदेशमंत्री
वार्सा – ईरान ने खाडी क्षेत्र में हो रहे आतंकी गतिविविधयों को हो रही आर्थिक सहायता की वजह से इस्रायल और पैलस्टाईन की बीच शांति वार्ता अटक पडी है, ऐसा आरोप बहरीन के विदेश मंत्री ‘खालिद बिन अहमद अल खलिफा’ इन्होंने किया है। साथ ही इस्रायल के साथ बहरीन राजनीतिक संबंध स्थापित कर सकता है, ऐसा भी बहरीन के विदेश मंत्री ने स्पष्ट किया है।
इस दौरान, पोलंड में हुई इस बैठक में अरब देशों ने इस्रायल के विषय में रखी भूमिका का व्हिडिओ इस्रायली प्रधानमंत्री के कार्यालय ने ‘लिक’ किया है। इसमें यह दिखाई दे रहा है की, ‘सौदी अरब के साथ खाडी क्षेत्र के अन्य दो देशों के विदेश मंत्री ईरान के आतंकवाद का समर्थन करनेवाली नीति पर आलोचना करके इस्रायल की भूमिका का समर्थन कर रहे है।’
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