बीजिंग – ‘साउथ चायना सी’ के क्षेत्र में गश्त करने के लिए स्पाय प्लेन और विध्वंसक भेजनेवाली अमरीका को चीन ने धमकाया है। अमरीका ने इस समुद्री क्षेत्र में जारी प्रक्षोभक गतिविधियां बंद नहीं की तो चीन और अमरीका के बीच ‘लष्करी दुर्घटना’ होने की संभावना से इन्कार नहीं किया जा सकता, यह धमकी चीन ने दी है। कुछ घंटे पहले ही चीन ने इसी समुद्री क्षेत्र में विमान वाहक युद्धपोत विरोधी मिसाइलों का परीक्षण करके अमरिकी युद्धपोतों को इशारा दिया था। इस वजह से मिसाइल परीक्षण के बाद चीन ने अमरीका को ‘लष्करी दुर्घटना’ के बारे में दी हुई धमकी की गंभीरता बढ़ी है। चीन के इस मिसाइल परीक्षण के बाद इस समुद्री क्षेत्र में अमरीका की लष्करी गतिविधियां भी अधिक आक्रामक होंगी, यह दावा विश्लेषक कर रहे हैं।
जापान, दक्षिण कोरिया, तैवान, फिलिपाईन्स, वियतनाम, मलेशिया के समुद्री क्षेत्रों में चीन की ‘पिपल्स लिब्रेशन आर्मी’ ने एक ही समय पर तीन युद्धाभ्यास शुरू रखे हैं। इसमें साउथ चायना सी, तैवान की खाड़ी और ‘यलो सी’ का समावेश है। तीन अलग अलग क्षेत्रों में हमला होने पर प्रत्युत्तर देने के नज़रिए से यह युद्धाभ्यास करने का बयान चीन की सेना ने किया है। इस दौरान ‘लाईव फायर’ युद्धाभ्यास के लिए चीन ने ‘नो फ्लाय ज़ोन’ का ऐलान किया था। लेकिन, चीन का यह युद्धाभ्यास यानी इस समुद्री क्षेत्र पर अपनी पकड़ मज़बूत करने की एवं अमरीका को चुनौती देने की कोशिश होने का दावा लष्करी विश्लेषक कर रहे हैं। चीन के इन युद्धाभ्यासों की वजह से संबंधित समुद्री क्षेत्र में तनाव बढ़ा है। ऐसी स्थिति में अमरीका के ‘यू-२ स्पाय प्लेन’ ने इसी समुद्री क्षेत्र में गश्त करने से चीन काफी गुस्सा हुआ था।
इसी बीच बीते चौबीस घंटों में अमरीका ने इस समुद्री क्षेत्र में अवैध निर्माण कार्य करने के मामले में चीन की २४ कंपनियों पर प्रतिबंध लगाने का ऐलान किया। साथ ही अमरीका की ‘यूएसएस मार्टिन’ नामक युद्धपोत ने इस समुद्री क्षेत्र में गश्त करने से चीन और भी गुस्सा हुआ है। अमरीका के रक्षामंत्री मार्क एस्पर ने साउथ चायना सी के क्षेत्र की इस गश्त का समर्थन किया है। साथ ही यह गश्त अमरिका की समय सारिणी पर आधारित थी, यह बयान भी एस्पर ने किया है। लेकिन, साउथ चायना सी के पूरे समुद्री क्षेत्र पर अपना ही अधिकार होने का दावा कर रहे चीन ने इस पर गुस्सा व्यक्त करके अमरीका को संघर्ष के संकेत दिए है। चीन की ‘पिपल्स लिब्रेशन आर्मी’ के ‘सदर्न कमांड’ के प्रवक्ता कर्नल ली हुआमिन ने शुक्रवार के दिन ‘साउथ चायना सी’ क्षेत्र में अमरीका की लष्करी गतिविधियों पर आलोचना की। ‘अमरिकी विध्वंसक ने चीन की अनुमति के बिना इस क्षेत्र में सफर किया है और चीन की नौसेना ने अमरिकी युद्धपोत को भगाया’, यह दावा कर्नल हुआमिन ने किया।
साथ ही, ‘अंतरराष्ट्रीय समुद्री नियमों का आधार लेकर अमरीका ने चीन के सार्वभौम अधिकार, सुरक्षा और अंतरराष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन किया तो ‘लष्करी दुर्घटना हो सकती है’, ऐसी धमकी कर्नल हुआमिन ने दी। तभी, अमरीका के उकसाने और दबाव से हम ड़रते नहीं, यह बयान चीन के रक्षा मंत्रालय ने किया है। लष्करी दबाव का शिकार होकर अमरीका की ताल पर चीन नहीं नाचेगा और चीन अमरीका को उचित प्रत्युत्तर देगा, यह इशारा भी चीन के रक्षा मंत्रालय ने दिया था। इस इशारे के साथ ही चीन ने साउथ चायना सी में युद्धाभ्यास के दौरान चार मिसाइलों का परीक्षण किया। इस दौरान ‘डाँगफेंग’ वर्ग के ‘डीएफ-२१डी’ और ‘डीएफ-२६बी’ इन विमान वाहक युद्धपोत विरोधी मिसाइलों का समावेश था। अमरिकी विध्वंसक इस समुद्री क्षेत्र में गश्त कर रही थी तभी चीन ने इन मिसाइलों का परीक्षण करके अमरीका को धमकाया है, यह दावा लष्करी विश्लेषक कर रहे हैं।
‘साउथ चायना सी’ के विवादित समुद्री क्षेत्र में युद्धाभ्यास करने के दौरान ‘बैलेस्टिक मिसाइलों’ का परीक्षण करके चीन ने इस क्षेत्र की शांति और सुरक्षा को खतरे में डाला है, ऐसी आलोचना अमरीका ने की है। चीन दावा कर रहे ‘साउथ चायना सी’ का क्षेत्र विवादित होने का आरोप अमरीका ने किया है। इस वजह से संबंधित विवादित समुद्री क्षेत्र में ‘बैलेस्टिक मिसाइल’ का परीक्षण करना अंतरराष्ट्रीय सागरी नियमों का उल्लंघन होने की आलोचना अमरिकी रक्षा मंत्रालय ने की है।
इसी बीच, अमरीका और चीन इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में लष्करी सामर्थ्य का जोरदार प्रदर्शन कर रहे हैं और इससे संघर्ष की चिंगारी भड़क सकती है, यह इशारा विश्लेषकों ने किया है। इनमें से ‘साउथ चायना सी’ के क्षेत्र में इन दोनों देशों की लष्करी गतिविधियां तनाव में बढ़ोतरी करनेवाली साबित हो रही हैं।
या बातमीबाबत आपले विचार आणि अभिप्राय व्यक्त करण्यासाठी खाली क्लिक करा:
https://twitter.com/WW3Info | |
https://www.facebook.com/WW3Info |