वॉशिंग्टन – ’राष्ट्राध्यक्ष ज्यो बायडेन ईरान के परमाणु करार का मामला बुरी तरह से संचलन कर रहे हैं। ऐसी ही स्थिति रही तो बायडेन की वजह से ईरान दसवां परमाणु राष्ट्र बनेगा। इसकी वजह से बायडेन के बाद सत्ता संभालनेवाले अमेरिका के राष्ट्राध्यक्ष को अगले कुछ वर्षों के लिए बहुत कुछ सहना पडेगा’, ऐसा इशारा अमेरिका के राष्ट्रीय गुप्तचर विभाग के भूतपूर्व प्रमुख जॉन रैटल्किफ ने दिया।
अमेरिका की आघाडी के समाचार चैनल को दी हुई मुलाकात में जॉन रैटल्किफ ने बायडेन प्रशासन की ईरान विषयक गतिविधियों पर चिंता व्यक्त की। ईरान के परमाणु करार के बारे में बायडेन की भूमिका अमेरिका समेत खाडी क्षेत्र के लिए भी धोखादाई होगी, ऐसा रैटल्किफ ने कहा। इसके लिए गुप्तचर विभाग के भूतपूर्व प्रमुख ने सालभर पहले तत्कालीन राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प के प्रशासन ने लिए हुए निर्णय का प्रमाण दिया।
भूतपूर्व राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने इब्राहिम करार द्वारा इस्रायल और अरब राष्ट्रों को साथ लाकर खाडी में शांति प्रस्थापित की। इसके अलावा ईरान पर कठोर आर्थिक प्रतिबंध लगाकर ईरान को आर्थिक स्तर पर कमज़ोर और प्रभावही कर दिया था, इसकी याद रैटल्किफ ने दिलाई। ’ट्रम्प की नीति की वजह से ईरान बिलकुल दिवालिया हो रहा था। ट्रम्प प्रशासन ने कासेम सुलेमानी जैसे ईरान के आतंकवादियों पर कार्यवाही की। इसकी वजह से ईरान पर दबाव बढा था, मगर सालभर में स्थिति पूरी तारह से बदल चुकी है’, ऐसी टीका रैटल्किफ ने की।
’घुटने टेके हुए ईरान को बायडेन प्रशासन ने समझौता करने का अधिकार दिया है। ईरान के विफल परमाणु करार को फिर से जीवित किया जा रहा है और इसमें अमेरिका को अपनी बात कहने का अधिकार नहीं रहा। बल्कि, अमेरिका के दो शत्रुराष्ट्र चीन और रशिया ईरान के साथ समझौता कर रहे हैं’, इस बात की ओर रैटल्किफ ने ध्यान आकर्षित किया। ईरान की सेंट्रल बैंक, राष्ट्रीय ईंधन कंपनी, रिवोल्युशनरी गार्ड्स पर से प्रतिबंध हटाकर कोई फरक नहीं पडेगा ऐसा सुस्पष्ट मत रैटल्किफ ने रखा।
तो बायडेन प्रशासन आतंकवादियों के साथ समझौता कर रहा है ऐसा आरोप रैटल्किफ ने लगाया। इस चर्चा द्वारा बायडेन प्रशासन ईरान को कुछ भी करने के लिए ’ब्लैंक चेक’ दे रहा है, यह कलंक अमेरिका के गुप्तचर विभाग के भूतपूर्व प्रमुख ने लगाया। ’इस समझौते द्वारा ईरान अमेरिका को अपने इशारे पर नचा रहा है, यह बात खाडी स्थित अमेरिका का सबसे बडा मित्रराष्ट्र इस्रायल चीख-चीखकर कह रहा है। ईरान परमाणु बम निर्माण करने के करीब पहुंच रहा है और ट्रम्प की तरह ईरान पर अधिकाधिक दबाव डालने की जरुरत है, इस बात की ओर इस्रायल निरंतर ध्यान आकर्षित कर रहा है। मगर बायडेन प्रशासन इसके खिलाफ कुछ भी करना नहीं चाहता, ऐसी जोरदार टीका रैटल्किफ ने की।
तो, बायडेन प्रशासन ईरान के साथ परमाणु करार के बहुत नजदीक पहुंचने का दावा अमेरिका के आघाडी के दनिक के सूत्रों के हवाले से किया है। तो ईरान ने आगाह किया है कि, अमेरिका हमारी मांगे मानेगा तभी सन २०१५ का परमाणु करार पुनर्जीवित होगा। ऐसी स्थिति में रैटल्किफ जैसे अमेरिका के गुप्तचर एवं संरक्षण दलों के भूतपूर्व अधिकारी बायडेन प्रशासन पर भारी टीका कर रहे हैं। विरोधि पक्ष नेता भी बायडेन की नीति की वजह से अमेरिका का खाडी क्षेत्र पर से प्रभाव खत्म होने का अहसास दिला रहे हैं।
इस समाचार के प्रति अपने विचार एवं अभिप्राय व्यक्त करने के लिए नीचे क्लिक करें:
https://twitter.com/WW3Info | |
https://www.facebook.com/WW3Info |