बायडेन सत्ता में आने के बाद ईरान सुलेमानी की हत्या का बदला लेगा – इस्रायल के पूर्व सुरक्षा अधिकारियों की चेतावनी

बायडेन सत्ता में आने के बाद ईरान सुलेमानी की हत्या का बदला लेगा – इस्रायल के पूर्व सुरक्षा अधिकारियों की चेतावनी

तेल अविव – कासेम सुलेमानी इस अपने नेता की हत्या का बदला लेने का ईरान बेसब्री से इन्तज़ार कर रहा है। ज्यो बायडेन ने अमरीका की बागड़ोर सँभालने के बाद ईरान सुलेमानी की हत्या का बदला लेगा। इसके लिए ईरान ठेंठ इस्रायल अथवा दुनियाभर के इस्रायल के हितसंबंधों को लक्ष्य करेगा, ऐसी चेतावनी इस्रायली गुप्तचर यंत्रणा ‘मोसाद’ तथा इस्रायल की राष्ट्रीय सुरक्षा काऊन्सिल के पूर्व प्रमुखों ने दिया। ईरान तथा इराक, यमन अथवा लेबेनॉन से इस्रायल पर क्रूझ् या बैलेस्टिक क्षेपणास्त्रों के हमलें भी किये जा सकते हैं, ऐसा दावा इन पूर्व प्रमुखों ने किया।

ईरान के कुद्स फोर्सेस के प्रमुख मेजर जनरल कासेम सुलेमानी पर अमरीका ने ड्रोन हमला करके की कार्रवाई को हाल ही में एक साल पूरा हुआ। सुलेमानी की हत्या का बदला लेने की तथा अमरीका को उसके गंभीर परिणामों की धमकी ईरान ने दी थी। इस सालभर में ईरान से जुड़े आतंकवादी गुटों ने इराकस्थित अमरीका के लष्करी अड्डे पर हमलें भी किये। लेकिन ईरान ने अभी भी सुलेमानी की हत्या का बदला नहीं लिया है। इस कारण ईरान द्वारा बड़ा हमला करवाया जाने की गहरी संभावना होने की चेतावनी इस्रायली गुप्तचर यंत्रणा ‘मोसाद’ के पूर्व प्रमुख शाबताई शावित, डॅनी याटोम और राष्ट्रीय सुरक्षा काऊन्सिल के पूर्व प्रमुख गिओरा इलँड ने दी।

इसके लिए शावित ने अर्जेंटिनास्थित इस्रायल के दूतावास और सांस्कृतिक केंद्र पर ईरान ने किये आतंकी हमले की याद दिला दी। सन १९९२ तथा १९९४ में ईरान ने ‘हिजबुल्लाह’ इस अपने आतंकवादी संगठन का इस्तेमाल करके अर्जेंटिना स्थित इस्रायल के हितसंबंधों को लक्ष्य किया था। आनेवाले समय में भी ईरान इसी प्रकार के हमलें कर सकता है। ठेंठ इस्रायल अथवा इस्रायल के हितसंबंधों पर हमलें करने के लिए ईरान फिर से अपने एजंटों का इस्तेमाल करेगा। ऐसे हमलों में उसपर ठेंठ आरोप नहीं होंगे इसका ख़याल ईरान रखेगा, ऐसा दावा शावित ने किया।

वहीं, ‘सुलेमानी की हत्या के कारण ईरान को ज़बरदस्त झटका लगा है। ईरान तथा कुद्स फोर्स अभी भी इस झटके में से सँभले नहीं हैं। आनेवाले समय में क्या कुद्स फोर्स पहले जैसा आक्रामक होगा, यह बताना मुश्किल है। लेकिन इस्रायल और अमरीका के ‘हाय वॅल्यू टार्गेट’ को लक्ष्य करने का ईरान का उद्दिष्ट होगा’, ऐसा दावा ‘मोसाद’ के एक और पूर्व प्रमुख डॅनी याटोम ने किया। वहीं, अमरीका के आगामी राष्ट्राध्यक्ष ज्यो बायडेन के शपथग्रहण कार्यक्रम को चंद कुछ दिन बाक़ी हैं, ऐसे में ईरान अमरीका अथवा इस्रायल पर ठेंठ अथवा अप्रत्यक्ष हमलें करे, यह इस्रायल के हित में नहीं होगा, ऐसा इलँड ने कहा।

अमरीका के विद्यमान राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प के बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता। इस कारण, बायडेन ने अमरीका की सत्ता सँभालने के बाद सुनियाभर के ईरान के एजंट्स, ईरान से जुड़े आतंकवादी संगठन, कट्टरपंथी इस्रायल के हितसंबंधों को लक्ष्य करेंगे। क्योंकि इस्रायल पर ठेंठ हमलें करना, ईरान अथवा ईरान से जुड़े आतंकवादी संगठनों के लिए मुमक़िन ना होने का दावा इलँड ने किया। लेकिन ऐसा होने के बावजूद ईरान को कम मत समझना। सुलेमानी का बदला लेने के लिए ईरान इराक, यमन अथवा लेबेनॉन स्थित हिजबुल्लाह के स्थानों से इस्रायल पर क्रूझ् अथवा बैलेस्टिक क्षेपणास्त्रों के हमलें कर सकता है, ऐसी चेतावनी इलँड ने दी।

इसी बीच, महीने भर पहले ईरान में परमाणु वैज्ञानिक मोहसिन फखरीझादेह की हत्या हुई थी। अपने परमाणु वैज्ञानिक की हत्या से आगबबूला हुए ईरान ने इस्रायल पर भीषण हमलें करने की धमकी दी थी। लेकिन अमरिकी गुप्तचर यंत्रणा ‘सीआयए’ के पूर्व प्रमुख जॉन ब्रेनन ने ईरान को सब्र बरतने की सलाह दी थी। अमरीका में ज़िम्मेदार सत्ताबदलाव होने तक कोई भी ग़लती मत करना, ऐसा ब्रेनन ने ईरान को जताया था। ईरान के लष्करी अधिकारियों ने भी, ट्रम्प का कार्यकाल ख़त्म होने के बाद सुलेमानी की हत्या का पूरा बदला लिया जायेगा, ऐसीं धमकियाँ दीं थीं।

English    मराठी

इस समाचार के प्रति अपने विचार एवं अभिप्राय व्यक्त करने के लिए नीचे क्लिक करें:

https://twitter.com/WW3Info
https://www.facebook.com/WW3Info