वॉशिंग्टन – आर्क्टिक क्षेत्र में रशिया के रक्षा अड्डे और आक्रामक गतिविधियों की हो रही बढ़ोतरी को रोकने के लिए अमरीका ने नॉर्वे के हवाई अड्डे पर ‘बी-१ बॉम्बर’ विमानों की तैनाती करने का निर्णय किया है। अमरीका के राष्ट्राध्यक्ष ज्यो बायडेन ने इससे संबंधित आदेश जारी करने की बात सामने आयी है। राष्ट्राध्यक्ष बायडेन ने बीते हफ्ते में विदेश नीति का रुख स्पष्ट करते समय रशिया विरोधी नीति अधिक आक्रामक करने का बयान किया था।
अमरीका के पूर्व राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने ‘अमरीका फर्स्ट पॉलिसी’ अपनाकर चीन के साथ ईरान, यूरोपिय देश और मित्रदेशों के खिलाफ आक्रामक भूमिका अपनाई थी। इसी बीच ट्रम्प ने रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमीर पुतिन के साथ बनाई नज़दिकीयां भी विवाद का विषय बनी थीं। लेकिन, बायडेन ने अपनी रशिया नीति पहले के राष्ट्राध्यक्ष की तरह नरम नहीं रहेगी, यह इशार दिया। ‘रशिया जैसा देश अपने जनतंत्र को नुकसान पहुँचानेवाली गतिविधियां कर रहा है। हम अपने पहले के राष्ट्राध्यक्ष की तरह रशिया के सामने घुटने नहीं टेकेंगे’, यह इशारा बायडेन ने दिया था।
नॉर्वे में बॉम्बर्स भेजने का निर्णय इसी का एक हिस्सा है। अगले हफ्ते तक अमरीका के चार ‘बी-१ बॉम्बर’ विमान नॉर्वे के ‘ऑरलैण्ड’ हवाई अड्डे पर दाखिल होंगे। इन विमानों के साथ-साथ २०० सैनिकों का दल भी नॉर्वे के अड्डे पर तैनात किया जाएगा। इन बॉम्बर विमानों की तैनाती की पूर्वतैयारी के लिए वायुसेना का छोटा दल नॉर्वे में पहले ही पहुँचा होने की जानकारी सूत्रों ने प्रदान की। अमरीका द्वारा नॉर्वे के अड्डों पर स्वतंत्र ‘बॉम्बर्स’ की तैनाती करने का यह पहला अवसर है।
अमरीका के ‘बॉम्बर्स टास्क फोर्स’ ने इससे पहले भी यूरोप में मुहिम चलाई है, फिर भी इनमें से अधिकांश मु्हिमें ब्रिटेन के अड्डे पर तैनात ‘बॉम्बर्स’ के माध्यम से चलाई गई थीं। कुछ मुहिमों के लिए अमरिकी बॉम्बर्स सीधे अमरीका से उड़ान भरकर यूरोप पहुँचे थे। यूरोप में मुहिम के बाद इन विमानों को वापस भी भेजा गया था। लेकिन, नॉर्वे के अड्डे पर इन विमानों की स्वतंत्र तैनाती होगी और यह बॉम्बर्स आर्क्टिक क्षेत्र में युद्धाभ्यास और मुहिम पूरी करेंगे, यह जानकारी यूरोप में मौजूद ‘यूएस फोर्सेस’ के अफसर ने प्रदान की।
इन बॉम्बर्स की तैनाती रशिया की आक्रामक गतिविधियों की पृष्ठभूमि पर अमरीका और नॉर्वे के बढ़ते रक्षा सहयोग का हिस्सा होने के संकेत सूत्रों ने दिए हैं। अगले दिनों में अमरीका अपनी पनडुब्बियां भी नॉर्वे के नौसेना अड्डे पर तैनात करने के लिए भेजेगी, यह भी कहा जा रहा है। दो वर्ष पहले आर्क्टिक क्षेत्र में हुए युद्धाभ्यास में अमरीका ने अपनी विमान वाहक युद्धपोत रवाना की थी, इस घटना की याद भी अमरिकी अफसर ने इस दौरान ताज़ा की।
रशिया ने बीते कुछ वर्षों में आर्क्टिक में रक्षा अड्डों की संख्या और वहां की तैनाती में काफी बढ़ोतरी की थी। रशियन लड़ाकू विमान और पनडुब्बियों की बढ़ती मौजूदगी यूरोपिय देशों के लिए चिंता का विषय बना था। इस पृष्ठभूमि पर बायडेन ने आक्रामक नीति के संकेत देकर रशिया को लक्ष्य करना शुरू किया है, यह दिखाई दे रहा है।
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