वॉशिंग्टन – सीरिया के लिए ईंधन और हथियारों की तस्करी कर रहे ईरान के जहाज़ों पर इस्रायल ने बीते दो वर्षों के दौरान कम से कम १२ हमले किए होने का दावा अमरिकी अखबार ने किया। इनमें से कुछ जहाज़ों पर इस्रायल ने बम हमले किए होने की बात वर्णित अखबार ने कही है। कुछ घंटे पहले ही रेड़ सी में सफर कर रहे मालवाहक जहाज़ पर विस्फोट के बाद आग लगने की खबर सामने आयी है। यह जहाज़ ईरान का होने की चर्चा है। ऐसी स्थिति में अमरिकी अखबार ने प्रसिद्ध की हुई यह खबर ध्यान आकर्षित कर रही है।
‘द वॉल स्ट्रीट जर्नल’ नामक अमरिकी अखबार ने गुरूवार के दिन इस्रायल ने ईरान के ईंधन टैंकर और मालवाहक जहाज़ों पर किए हमलों की खबर प्रसिद्ध की। इस खबर में वर्ष २०१९ से इस्रायल ने ‘रेड सी’ समुद्री क्षेत्र में की कार्रवाई की जानकारी साझा की गई है। साथ ही हथियार लेकर सीरिया जा रहे जहाज़ों को इस्रायली सेना ने लक्ष्य किया है। इनमें से कुछ जहाज़ ईरान के थे। वहीं, कुछ जहाज़ों पर ईरान के र्इंधन और हथियार थे। र्इंधन की अवैध निर्यात रोककर ईरान की अर्थव्यवस्था की मुश्किलें बढ़ाने के लिए ही इस्रायल ने यह हमले किए हैं, यह दावा वर्णित अखबार ने किया है।
अमरीका ने लगाए प्रतिबंधों के अनुसार ईरान अन्य देशों को र्इंधन की बिक्री नहीं कर सकता। क्योंकि, र्इंधन के निर्यात से प्राप्त होनेवाले पैसों का इस्तेमाल ईरान खाड़ी क्षेत्र के साथ इस्रायल में आतंकी हरकतों को अंजाम देने के लिए करता है, ऐसा आरोप अमरीका और इस्रायल ने किया था। इस वजह से ईरान के र्इंधन की यह अवैध निर्यात रोकने के लिए इस्रायल ने इन जहाज़ों पर कार्रवाई की है, ऐसा अमरिकी अखबार ने कहा है।
इसके अलावा ईरान मालवाहक जहाज़ों से हथियारों की तस्करी करके इस्रायल विरोधी हिज़बुल्लाह और अन्य आतंकी संगठनों को हथियारों से सज्जित कर रहा है, ऐसा आरोप इस्रायल लगाता रहा है। इसी कारण इन जहाज़ों पर कार्रवाई करके इस्रायल ने ईरान के हथियारों की तस्करी भी रोक रखी है, ऐसा अमरिकी अखबार का कहना है। इनमें से कुछ जहाज़ों पर इस्रायल ने बम हमले किए होने का दावा अमरिकी अखबार ने किया। इसके लिए अमरिकी अखबार ने कुछ फोटो भी जारी किए हैं।
अमरीका एवं खाड़ी क्षेत्र के कुछ अफसरों के दाखिले से वर्णित अखबार ने यह जानकारी प्रसिद्ध की है। लेकिन, ईरान ने इस खबर पर बयान करना टाल दिया है। पर, ईरान के शिपिंग उद्योग क्षेत्र के कुछ कारोबारियों ने रेड सी से सफर कर रहे जहाज़ों पर हमले होने की बात स्वीकारी है। कम से कम दो ईरानी जहाज़ों को विस्फोट के बाद लौटना पड़ा था, इसकी कबूली भी इन कारोबारियों ने दी है। ईरान की सरकार या अधिकारी यह बात स्वीकार नहीं करेंगे। क्योंकि, ऐसा करने पर इस्रायल के हमलों पर प्रत्युत्तर ना देनेवाला ईरान कमजोर है, यह संदेश इससे पहुँच सकता है, यह बयान भी इन कारोबारियों ने अमरिकी अखबार से बातचीत के दौरान किया है।
इसी बीच गुरुवार के दिन ‘रेड सी’ क्षेत्र में सफर कर रहे र्इंधन टैंकर पर संदिग्ध विस्फोट होने के बाद आग लगने की खबर कुछ माध्यमों ने प्रसिद्ध की है। इस विस्फोट का कारण स्पष्ट नहीं हो सका है। लेकिन, ‘शहर-ए-कोर्द’ नामक यह जहाज़ ईरान के मालिकाना हक का था, यह दावा किया जा रहा है। इस जहाज़ के फोटो भी प्रसिद्ध हुए हैं। लेकिन, ईरान की सरकार ने या माध्यमों में यह खबर प्रसिद्ध नहीं हुई है।
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