मास्को/किव – रशिया ने डोन्बास में शुरू किए आक्रामक हमलों की पृष्ठभूमि पर अमरीका ने यूक्रेन को प्रगत हवाई सुरक्षा यंत्रणा प्रदान करने की गतिविधियाँ शुरू की हैं। यूक्रैन के राष्ट्राध्यक्ष वोलोदिमीर झेलेन्स्की ने लगातार इसकी माँग की थी। इस हफ्ते अमरीका यूक्रेन को हवाई सुरक्षा यंत्रणा प्रदान करने का ऐलान करेगी, सूत्रों ने यह दावा किया है। इसी बीच रशिया विरोधी युद्ध इस साल के अन्त तक खत्म होना ही चाहिये, ऐसा बयान राष्ट्राध्यक्ष झेलेन्स्की ने ‘जी ७’ देशों के साथ हुई बैठक में करने की बात सामने आयी है।
फ़रवरी में यूक्रेन में सैन्य अभियान शुरू करनेवाली रशिया को इस अभियान के दूसरे चरण में बड़ी सामरिक सफलता मिलने की बात स्पष्ट हो रही है। रशिया की इस कामयाबी के कारण यूक्रेन के अलावा पश्चिमी देश भी बेचैन हैं। इस वजह से रशिया को पीछे खदेड़ने के लिए यूक्रेन की गतिविधियाँ तेज़ हुई हैं। इसमें प्रमुखता से पश्चिमी देशों से प्राप्त हो रही हथियारों की सहायता की मात्रा और गति बढ़ाने पर जोर दिया जा रहा है। कुछ दिन पहले यूक्रेन को अमरीका से ‘हार्पून’ मिसाइल यंत्रणा एवं ‘हायमार्स’ रॉकेट यंत्रणा प्राप्त हुई और इनका इस्तेमाल भी शुरू होने की बात कही जा रही है।
लेकिन, इन यंत्रणाओं के साथ ही यूक्रेन लगातार प्रगत हवाई सुरक्षा यंत्रणा की माँग कर रहा है। यूक्रेन के पास फिलहाल मौजूद अधिकांश हवाई सुरक्षा यंत्रणा रशियन निर्माण की और पुरानी है। इनमें से कई यंत्रणा रशियन हमलों में बेकार होने से रशिया के नए हमलों को प्रत्युत्तर देना यूक्रेन के लिए कठिन हो रहा है। ऐसे में पिछले महीने से यूक्रेन को डोन्बास क्षेत्र के कई अहम शहर खोने पड़े हैं। अगले कुछ हफ्ते रशियन हमलों की तीव्रता कायम रही तो पूरा डोन्बास क्षेत्र रशिया के नियंत्रण में जाने का ड़र है।
ऐसा होना यूक्रेन की सेना के साथ ही समर्थक पश्चिमी देशों के लिए भी बड़ा झटका साबित हो सकता है। इस वजह से रशिया को पीछे धकेलने के लिए यूक्रेन कोशिश कर रहा है और उसे ‘जी ७’ गुट ने प्रतिसाद देने की बात सामने आ रही है। ‘जी ७’ के प्रमुख देश अमरीका ने यूक्रेन को प्रगत ‘नैसैम्स’ यंत्रणा प्रदान करने के संकेत दिए हैं। नॉर्वे और अमरीका की प्रमुख रेथॉन कंपनी ने इस हवाई सुरक्षा यंत्रणा का निर्माण किया था। साल २०१९ में इसका प्रगत संस्करण विकसित किया गया है और इसकी मारक क्षमता ३० किलोमीटर से अधिक है। रशियन विमान और मिसाइलों को प्रत्युत्तर देने के लिए यह यंत्रणा उपयुक्त साबित होगी, ऐसा समझा जा रहा है।
इसी बीच, ‘जी ७’ गुट ने यूक्रेन को लेकर संयुक्त निवेदन जारी किया है। इसमें यूक्रेन को लंबे समय तक आर्थिक, मानवीय, सैन्य एवं राजनीतिक सहायता प्रदान की जाएगी, यह स्पष्ट किया गया है।
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