काबुल – तालिबान के आतंकियों ने राजधानी काबुल में अफ़गानिस्तान के रक्षामंत्री का घर बम विस्फोट से ध्वस्त किया और इस विस्फोट में आठ लोगों की मौत हुई। तालिबान के प्रवक्ता ज़बिहुल्ला मुजाहिद ने इस हमले की ज़िम्मेदारी स्वीकारी है। ‘अफ़गान सेना की कार्रवाई के प्रतिशोध के तौर पर यह हमला किया गया। अगले दिनों में अफ़गान सरकार और घुसपैठीयों पर ऐसे हमले जारी रहेंगे’, ऐसी धमकी मुजाहिद ने दी। इसी बीच, संयुक्त राष्ट्रसंघ की सुरक्षा परिषद ने तालिबान के इस हमले का निषेध किया। साथ ही अफ़गानिस्तान में हिंसा कर रही तालिबान की हुकूमत को मंजूरी प्रदान नहीं होगी, यह बात भी सुरक्षा परिषद ने स्पष्ट की।
अफ़गानिस्तान के अस्थायी रक्षामंत्री बिस्मिल्ला खान मोहम्मदी के सरकारी निवास स्थान के करीब मंगलवार रात बड़ा विस्फोट हुआ। इस वारदात में तालिबान के आतंकियों ने विस्फोटकों से भरी गाड़ी मोहम्मदी के घर के करीब टकराई। इस विस्फोट में रक्षामंत्री बच गए, लेकिन, उनके सुरक्षा कर्मी गंभीर रूप से घायल हुए हैं। इस विस्फोट के बाद तालिबानी आतंकी और अफ़गान सेना के बीच कम से कम पांच घंटे संघर्ष जारी रहा। तालिबान के प्रवक्ता मुजाहिद ने सोशल मीडिया के ज़रिये इस हमले की ज़िम्मेदारी स्वीकारी।
अफ़गान रक्षा मंत्रालय की अहम बैठक जारी थी और इसी बीच इस विस्फोट को अंजाम देने की बात मुजाहिद ने स्वीकारी। गनी सरकार पर यह आखिरी हमला नहीं है। अगले दिनों में सरकार के अहम नेताओं को और सहयोगियों को लक्ष्य करने की धमकी भी मुजाहिद ने दी है। साथ ही अफ़गान सरकार का समर्थन कर रहे पश्चिमी देशों के हित भी हमारे हमलों से सुरक्षित ना रहने का इशारा ज़बिहुल्ला मुजाहिद ने दिया।
अफ़गान सेना की कार्रवाई में तालिबान को बड़ी मात्रा में जान-माल का नुकसान भुगतना पड़ रहा है, यही बात मुजाहिद की धमकी से स्पष्ट हो रही है। अफ़गान सेना ने बीते कुछ हफ्तों से तालिबान पर हमले तीव्र किए हैं। बीते चौबीस घंटों के दौरान अफ़गान सेना की कार्रवाई में तालिबान के २७४ आतंकी मारे गए हैं। इनमें कंदहार, हेल्मंड़, जोवज़ान प्रांतों में हवाई कार्रवाई से मारे गए आतंकियों का समावेश होने का दावा किया जा रहा है।
अफ़गान सेना ने तालिबान के खिलाफ शुरू की हुई इस कार्रवाई को स्थानीय लोगों का जोरदार समर्थन प्राप्त हो रहा है। बीते तीन दिनों से राजधानी काबुल, हेल्मंड़ की राजधानी लश्करगह एवं अन्य अहम शहरों की जनता ने रात के समय सड़कों पर उतरकर तालिबान के खिलाफ नारेबाज़ी करने के वीडियो सामने आ रहे हैं। इनमें गनी सरकार के नेता भी शामिल थे। तभी, कुठ ठिकानों पर तालिबान के खिलाफ संघर्ष करने के लिए महिलाओं ने राइफल्स उठाने की भी खबरें हैं।
अपने देश में हो रहे इन आतंकी हमलों के लिए और अस्थिरता के लिए पाकिस्तान ज़िम्मेदार होने का आरोप अफ़गानिस्तान के विदेश मंत्रालय ने लगाया है। पाकिस्तान की जैश ए मोहम्मद और लश्कर ए तोयबा के आतंकी तालिबान के पक्ष में अफ़गान शहरों पर हमले कर रहे हैं, यह आरोप अफ़गान विदेश मंत्रालय ने लगाया। इसके अलावा १७० पाकिस्तानी आतंकियों ने नरीस्तान प्रांत में स्थित अफ़गान सेना के ठिकाने पर कब्ज़ा किया होने का दावा फ्रेंच विश्लेषक फैबियन बुसार्ट ने किया।
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